हमारा परिचय


आज हम जब भी हिन्दी भाषा साहित्य की बात करते हैं तो अक्सर हमारा ध्यान हिन्दी के स्वर्णिम इतिहास की तरफ जाता है और हम सभी के दिमाग में हिन्दी के प्रमुख रचनाकारों के नाम आते हैं मसलन प्रेमचंद, निराला, दिनकर, बच्चन, महादेवी वर्मा इत्यादि। हमें आज के युवा लेखक और कवियों के बारे में कोई जानकारी नहीं है।

इसका मतलब ये बिलकुल नहीं है कि आज कल हिन्दी के रचनाकारों की कमी है! बदकिस्मती ये है कि आज का प्रतिभाशाली रचनाकार केवल ब्लॉग और फेसबुक तक सीमित रह गया है। वह अगर कुछ अदभुत लिखता भी है तो उसे पढने वाले उसके संगी साथी ही रह गए है।

साहित्य मंजरी एक प्रयास है हिन्दी भाषा के आधुनिक रचनाकारो को एक मंच पर लाने का जिस से की हिन्दी साहित्य के इन नवीन स्तंभों को उपयुक्त नाम और सम्मान दिया जा सके. इसके साथ ही हमारी कोशिश है कि आधुनिक हिन्दी साहित्य की बिखरी हुई अनमोल रचनाओ का संकलन किया जा सके जिस से की आने वाली पीढ़ी इस अनमोल धरोहर से वंचित न रहे।

आप सभी से अनुरोध है कि हमारे इस प्रयास में अपना योगदान दे! अगर आप को लगता है कि आप अच्छा लिखते हैं या आप अपने आस पास किसी भी व्यक्ति को जानते हो जो अच्छा लिखते हैं, उन्हें हमारे साईट के बारे में ज़रूर बताएं।

विशेष सूचना : साहित्य मंजरी किसी भी रचनाकार को किसी भी तरह की धन राशी देने का वादा नहीं करती, सभी रचनाकार अपनी स्वेच्छा से रचनायें भेजते हैं जिसके लिए उन्हें किसी किस्म का भुगतान नहीं किया जाता साथ ही साथ हम किसी भी रचनाकार से रचना प्रकाशित करने के लिए कोई धन राशी नहीं लेते, यह एक निशुल्क मंच है जिस पर योग्य रचनाकारों की स्वरचित रचनाओं को हम दुनिया भर के पाठक के सामने रखते हैं।

कॉपीराइट :

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