बहन की स्मृति में
वो पहले वाली बात नही थी
अबकी बार दिवाली में
खीलें भी थी गट्टे भी थे
थी मिठाईयाँ भी थाली
वो पहले वाली बात नही थी
अबकी बार दिवाली में
फूल तो इस बार भी दामन में आये थे
फूलों में तो खुशबू थी पर खुशी नही थी माली में
वो पहले वाली बात नही थी
अबकी बार दिवाली में
कुछ पटाखे हमने भी घर छत पर फोडे थे
साथ सबके हँसे बहुत पर रो पडे हम खाली में
वो पहले वाली बात नही थी
अबकी बार दिवाली में