ज़िन्दगी

आज बैठे बैठे सोचा कि क्या है इस ज़िन्दगी में??
तब जाना कि बहुत कुछ है इस ज़िन्दगी में!!

माँ की मुस्कान से लेकर माँ की ममता है इस ज़िन्दगी में,
पिता के परिश्रम से लेकर पिता की दुआ है इस ज़िन्दगी में!

आज जाना कि बहुत कुछ है इस ज़िन्दगी में!!

भाई-बहनो की नोक-झोंक से लेकर,
दोस्तो की दोस्ती है इस ज़िन्दगी में,
गर्मियों की छुटियों में बिताया हुआ बचपन है इस ज़िन्दगी में!

आज जाना कि बहुत कुछ है इस ज़िन्दगी में!!

दादा-दादी की मीठी डांट से लेकर,
नाना-नानी का प्यार है इस ज़िन्दगी में!

किसी ख़ास की चाह से लेकर,
उसे पाने की चाह है इस ज़िन्दगी में,
लेकिन फिर भी इस प्यारी ज़िन्दगी को छोड़, 
हम व्यस्त है अपनी ज़िन्दगी में!

आज जाना कि बहुत कुछ है इस ज़िन्दगी में!

इस ख़ास ज़िन्दगी को छोड़ हम व्यस्त है,
अपनी झूठी इंटरनेट की ज़िन्दगी में,
भविष्य बनाने की चाह में ,प्यारे परिजनों के लिए वक़्त नही है इस ज़िन्दगी में!

आज जाना कि बहुत कुछ है इस ज़िन्दगी में!!

पक्षियों की चहचाहट से लेकर,
हवाओ की वादियां है इस जिंदगी में!
 
असल में, सब कुछ है  इस ज़िन्दगी में,
बस ज़िन्दगी को समझने की देरी है इस ज़िन्दगी में!

आज बैठे बैठे सोचा कि क्या है इस ज़िन्दगी में,
तब जाना कि बहुत कुछ है इस ज़िन्दगी में!
 


तारीख: 14.04.2024                                    प्रियंका






रचना शेयर करिये :




नीचे कमेंट करके रचनाकर को प्रोत्साहित कीजिये, आपका प्रोत्साहन ही लेखक की असली सफलता है